नीट-यूजी परीक्षा में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी के सबूत नहीं- केंद्र
केंद्र सरकार और एनटीए ने नीट यूजी परोक्ष को लेकर शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में अलग-अलग हलफनामे दाखिल किए। उन्होंने अभ्यर्थियों, कोचिंग संस्थानों और अभिभावकों की याचिकाओं पर जवाब दिया है कि नौट परीक्षा रद कर री-नीट कराना उन लाखों छात्रों के साथ नाइंसाफी होगी, जिन्होंने पूरी ईमानदारी से मेहनत कर परीक्षा दी थी। केंद्र के अनुसार पेपर सीमित इलाके में लीक होने की पुष्टि हो सकी है। 571 शहरों के 4,750 केंद्रों पर 23 लाख से अधिक अभ्यर्थियों ने यह परीक्षा दी थी। सरकार के मुताबिक, इसमें बड़े पैमाने पर गड़बड़ी के उल्लंघन के कोई सबूत नहीं है।
क्या ये नीट क्लीन है? केंद्र सरकार-एनटीए का सुप्रीम कोर्ट में जवाब
एनटीए ने कहा- परीक्षा रद्द करना लाखों ईमानदार छात्रों से नाइंसाफी
केंद्र सरकार ने कहा है कि सबूतों के अभाव में समूची परीक्षा को रद्द करना सही नहीं होगा। हर परीक्षा में छात्रओं के कंपीटिंग राइट्स होते हैं। एजेंसे को हर उस छात्र के हित का ख्याल रखना होता है, जिसने बिना किसी अनुचित साधन का इस्तेमाल किए पूरी ईमानदारी से परीक्षा दी है। ऐसे छात्रों को दोबारा परीक्षा देने के खतरे में नहीं डाला जा सकता। परीक्षा रद्द करना लाखों छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करने जैसा होगा।
नीट मामले में 18 जून को सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने एनटीए से कहा कि नीट यूजी परीक्षा कराने में किसी की 0.001 प्रतिशत भी गड़बड़ी हुई है. तो जांच होनी चाहिए। केंद्र और एनटीए को स्वीकार करना चाहिए कि परीक्षा के आयोजन में कोई गलती हुई है तो उसे नकारने के बजाय सुधारना चाहिए
सरकार ने कहा, जांच सीबीआई कर रही, समिति भी बनाई
केंद्र सरकार ने ताजा हलफनामे में यह भी कहा है कि नीट मामले को सीबीआई को सौंपा गया है, जो परीक्षा में हर तरह की अनियमितताओं पर विस्तार से जांच कर रही है। इसरो के पूर्व चेयरमैन की अध्यक्षता में उच्च स्तरीय समिति भी बनाई गई है, जो दो महीने में नेशनल टेस्टिंग एजेंसी के कामकान में सुधार को लेकर सिफारिश देगी। यह समिति सुझाव देगी कि परीक्षा प्रक्रिया के सिक्योरिटी प्रोटोकॉल में क्या बदलाव किए जाएं। समिति की अब तक चार बैठकें भी हो चुकी हैं। समिति ने छात्रों, शिक्षकों और अन्य हितधारकों से भी सुझाव लिए हैं
काउंसलिंग आज से, शाम तक नोटिफिकेशन नहीं
नोट-यूजी की काउंसलिंग को लेकर स्वास्थ्य मंत्रालय में स्पष्टता नहीं है। काउंसलिंग जुलाई से शुरू करने की तारीख घोषित है। लेकिन 5 जुलाई शाम तक इसके शेड्यूल और राजस्ट्रेशन को लेकर नोटिफिकेशन नहीं आया। जानकाओं का मानना है कि मेडिकल काउंसलिंग कमेटी कोई फैसले से पहले सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई तक इंतजार कर लेना चाहती है।
नीट-पीजी की नई तारीख घोषित, 11 अगस्त को होगी
नीट-पीजी परीक्षा की नई तारीख
घोषित कर दी गई है। यह परीक्षा 11 अगस्त को दो पालियों में होगी। पहले यह परीक्षा 3 मार्च को होनी थी। तब स्थगित कर 23 जून की तारीख दी गई थी। परीक्षा की निष्पक्षता पर उठे सवालों के बाद एक दिन पहले ही 22 जून को इसे फिर स्थगित कर दिया गया था। देशभर में 52,000 स्नातकोत्तर सीटों के लिए हर साल करीब दो लाख एमबीबीएस स्नातक छात्र-छाबएं नीट-पीजी देते हैं।